रचनाकार : यशवन्त कोठारी,जयपुर
दूसरी और डाक्टरों की हिदायतें भी गज़ब की है . और घर की शांति के लिए जो नयी रेसिपी आज यू ट्यूब से सीखी उसे निगलना पड़ता है .
गरीब भारत में दाल रोटी या लिट्टी चोखा भी नहीं मिलता .सरकार ने मिलेट्स खाने के लिए कहा सब लोग मिलेट्स की रेसिपी ले कर आ गये ,न खाते बने न उगलते . इन ब्लोगरों व इनके किचन और बर्तनों को देख कर लगता है भारत कतई गरीब देश नहीं है . सिखाने वाली महिलाओं के कपडे ,आभूषण ,श्रंगार क्या कहने , कौन कहता है प्याज़, आलू, टमाटर महंगे है?इन सिखाने वालों व वालियों के आवश्यक सामग्री की सूची लेकर जब बाज़ार जाते हैं तो चक्कर आ जाते हैं ,मात्र चाहिए दस या बीस ग्राम लेकिन पेकेट पांच सो ग्राम से कम का नहीं मिलता .लेना पड़ता हैं,बाकि का सामान बरसों पड़ा पड़ा मुंह चिढाता रहता है.
इन ब्लागरों के घरवाले भी यह सब खाना खा खा कर बहुत परेशान होंगे ,लेकिन बेचारों पर क्या बीतती होगी जब उनको सैंपल का खाना खाना पड़ता होगा ,नाना नानी की किचन ननद भोजी की किचन,दादी दादा की किचन ,बहूजी की किचन , हसबेंड किचन वाइफ किचन,इन किचनों के क्या कहने .अमेरिका में बेक टू किचन आन्दोलन चल रहा है और भारत में किचन तो बंद खाना ओन लाइन और केवल सीखने के काम में सब व्यस्त है ,चखों और तारीफों के पुल बांधों नहीं तो घरेलू महाभारत और रामायण के लिए तैयार रहों .
नयी पीढ़ी के लोग बताते हैं कि इस काम में बहुत पैसा है .कभी फिफ्टी ग्रेट इंडियन कढ़ी किताब देखी थी आज कल तो शेफ के वेतन भत्तों की तुलना केवल व्यावसायिक पायलट के वेतन से की जा सकती है.शेफ, फूडी, फ़ूड ब्लोगर सब नित नयी डिशेज बना कर खिलाने को तत्पर है आप खाए तो भी कोई एतराज नहीं बस अपनी सेहत का भी ख्याल रखे नहीं तो डाक्टर और अस्पताल का बिल भरते भरते आप और आप के घर वाले खाना-पीना सब भूल जायेंगे .
(काल्पनिक रचना)
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यशवन्त कोठारी: जीवनवृत्त-2
प्रकाशित पुस्तकें
1 – कुर्सी सूत्र (व्यंग्य-संकलन) श्री नाथजी प्रकाशन, जयपुर 1980
2 – पदार्थ विज्ञान परिचय (आयुर्वेद) पब्लिकेशन स्कीम, जयपुर 1980
3 – रसशास्त्र परिचय (आयुर्वेद) पब्लिकेशन स्कीम, जयपुर 1980
4 – ए टेक्सूट बुक आफ रसशास्त्र (मलयालम भाषा) केरल सरकार कार्यशाला 1981
5 – हिन्दी की आखिरी किताब (व्यंग्य-संकलन) -पंचशील प्रकाशन, जयपुर 1981
6 – यश का शिकंजा (व्यंग्य-संकलन) -प्रभात प्रकाशन, दिल्ली 1984
7 – अकाल और भेड़िये (व्यंग्य-संकलन) -श्रीनाथ जी प्रकाशन, जयपुर 1990
8 – नेहरू जी की कहानी (बाल-साहित्य) -श्रीनाथ जी प्रकाशन, जयपुर 1990
9 – नेहरू के विनोद (बाल-साहित्य) -श्रीनाथ जी प्रकाशन, जयपुर 1990
10 – राजधानी और राजनीति (व्यंग्य-संकलन) – श्रीनाथ जी प्रकाशन, जयपुर 1990
11 – मास्टर का मकान (व्यंग्य-संकलन) – रचना प्रकाशन, जयपुर 1996
12 – अमंगल में भी मंगल (बाल-साहित्य) – प्रभात प्रकाशन, दिल्ली 1996
13 – साँप हमारे मित्र (विज्ञान) प्रभात प्रकाशन, दिल्ली 1996
14 – भारत में स्वास्थ्य पत्रकारिता चौखम्भा संस्कृत प्रतिष्ठान, दिल्ली 1999
15 – सवेरे का सूरज (उपन्यास) पिंक सिटी प्रकाशन, जयपुर 1999
16 – दफ्तर में लंच – (व्यंग्य) हिन्दी बुक सेंटर, दिल्ली 2000
17 – खान-पान (स्वास्थ्य) – सुबोध बुक्स, दिल्ली 2001
18 – ज्ञान-विज्ञान (बाल-साहित्य) संजीव प्रकाशन, दिल्ली 2001
19 – महराणा प्रताप (जीवनी) पिंकसिटी प्रकाशन, जयपुर 2001
20 – प्रेरक प्रसंग (बाल-साहित्य) अविराम प्रकाशन, दिल्ली 2001
21 – ‘ठ’ से ठहाका (बाल-साहित्य) पिंकसिटी प्रकाशन, जयपुर 2001
(क्रमश:)
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